"गगन का चाँद बना धरा का चन्द्रमा"
होलिका दहन का दिन, गगन में पूर्णिमा का चन्द्रमा पूरे जोरों से चमक बिखेरता हुआ, तीन पुत्रों के पश्चात पुत्री होने की सुचना से प्रफुल्लित पिता ने चंद्रमा को देखते हुए ही कहा कि इसका नाम शशि रखेंगें, इसका जीवन भी चंद्रमा की भांति उज्ज्वल रहेगा।अत्यंत सम्पन्न परिवार में राजकुमारी जैसा समय व्यतीत होता रहा उस चंचल शोख लड़की का।पलक झपकते ही कब वो बड़ी हो गयी ये आभास पिता को तब हुआ जब किसी ने एक डॉ लड़के का नाम वर हेतु सुझाया।दोनों घरों में आर्थिक विषमता थी पर लालाजी को सुंदर,सुशील व स्वावलंबी वर भा गया।एक शुभ महूर्त में दोनों परिणय सूत्र में बंध गए।बधू के समस्त परिचित मना करने लालाजी के पास आये कि लड़की को कुएं में धकेल रहे हो किन्तु उनकी पारखी नज़रों ने लड़के के गुणों को परख लिया था। वर के समस्त परिचित विवाह पश्चात बधू की मुंहदिखाई ये सोच कर करने आये कि अवश्य लड़की में कोई कमी होगी तभी विपिन्न घर में ब्याह दिया है परंतु सर्वगुण सम्पन्न चाँद सी दुल्हन देख सभी दांतों तले उंगली दबाते रह गये। जोड़ियाँ स्वर्ग में तय हो जाती हैं इनकी जोड़ी को देख यही प्रतीत होता था,प्रभु की असीम कृपा से दोनों अत्यधिक प्रसन्न थे।
होलिका दहन का दिन, गगन में पूर्णिमा का चन्द्रमा पूरे जोरों से चमक बिखेरता हुआ, तीन पुत्रों के पश्चात पुत्री होने की सुचना से प्रफुल्लित पिता ने चंद्रमा को देखते हुए ही कहा कि इसका नाम शशि रखेंगें, इसका जीवन भी चंद्रमा की भांति उज्ज्वल रहेगा।अत्यंत सम्पन्न परिवार में राजकुमारी जैसा समय व्यतीत होता रहा उस चंचल शोख लड़की का।पलक झपकते ही कब वो बड़ी हो गयी ये आभास पिता को तब हुआ जब किसी ने एक डॉ लड़के का नाम वर हेतु सुझाया।दोनों घरों में आर्थिक विषमता थी पर लालाजी को सुंदर,सुशील व स्वावलंबी वर भा गया।एक शुभ महूर्त में दोनों परिणय सूत्र में बंध गए।बधू के समस्त परिचित मना करने लालाजी के पास आये कि लड़की को कुएं में धकेल रहे हो किन्तु उनकी पारखी नज़रों ने लड़के के गुणों को परख लिया था। वर के समस्त परिचित विवाह पश्चात बधू की मुंहदिखाई ये सोच कर करने आये कि अवश्य लड़की में कोई कमी होगी तभी विपिन्न घर में ब्याह दिया है परंतु सर्वगुण सम्पन्न चाँद सी दुल्हन देख सभी दांतों तले उंगली दबाते रह गये। जोड़ियाँ स्वर्ग में तय हो जाती हैं इनकी जोड़ी को देख यही प्रतीत होता था,प्रभु की असीम कृपा से दोनों अत्यधिक प्रसन्न थे।
उत्तम
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